Bachpan, बच्चों को बचपने का आनंद लेने दीजिए | Suvichar Hindi
मानलो अगर आपका बच्चा पेड़ पर चढ़ने की कोशिश कर रहा है…!
आप क्या करोगे…? आप तुरंत ही डर जाओगे…!
आप सोचोगे… कही मेरा बच्चा गिर ना जाए…! उसके हाथ पैर में
चोट ना लग जाए…
या कुछ ज्यादा ही गलत हो जाए… इन बातोँ से डरकर… आप बच्चे की तरफ
दौड़ते हुए जाकर उसे रोक लेते हो.
अगर आपको पता होता की… पेड़ पर चढ़ने से कितना मजा आता है…
कितनी आनंद की अनुभूति होती है…! तो आपने बच्चे की जरूर मदत की होती,
उसे पेड़ पर चढ़ना सिखाया होता.
आपका डर भी सही है, ये आपकी जिम्मेदारी को दर्शाता है,
आपके प्रेम को दर्शाता है. तो जाओ… बच्चे की मदत करो,
जिससे वो गिरे नहीं, उसे सिखाओ…
बच्चे को पेड़ पर चढ़ने से रोकने से उसका विकास रुक जाता है…
उसे अपनी छत्रछाया में खेलने दीजिए.
पेड़ो पर चढ़ना भी एक ख़ास अनुभूति है, अगर बच्चे ने अपने बाल्यकाल में
यह नहीं किया तो वह इस आनंद से वंचित रह गया. उसे आप ने इस
सुंदर आनंद से वंचित कर दिया.
इस आनंद को महसूस करने का दूसरा और रास्ता नहीं है…!
Bachpan,बच्चों को बचपने का आनंद लेने दीजिए, suvichar
मानलो बहार बहुत जोरो से बरसात हो रही हो और बच्चा बाहर बरसात में
जाना चाहता है…! बारिश में भीगना चाहता है…! और आप डरते हो की कही
बारिश में भीगने से उसे सर्दी ना हो जाए…! या निमोनिया ना हो जाए….
आपका डर बिलकुल उचित है… इसलिए आप ऐसा कुछ करे की बारिश में
भीगने से उसे सर्दी ना हो उसकी रोग प्रतिकारक शक्ति बढे.
उसे डाक्टर को दिखाए और पूछें की, क्या कमी है…!
कैसा भोजन दिया जाए. कोई विटामिनों की कमी है क्या…!
ऐसा क्या करू, जिससें मेंरा बच्चा बारिश में भीग सके, बारिश का
आनंद ले सके. उसे सर्दी न हो…!
बच्चों को इस बचपन से चुकने मत दिया करो… यदि आप ख़ुशी चाहते हो,
और आप बच्चों के प्रति जागृत हो तो, आप समझ सकते हो की,
आपका बच्चा क्या महसूस कर रहा है…!
Bachpan
